PATNA : बिहार की राजनीति एक बार फिर गरमा गई है, राजद के पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव के विवादित बयान ने राज्य की सियासी फिजा में तूफान खड़ा कर दिया है। नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव की पत्नी राजश्री यादव को लेकर की गई आपत्तिजनक टिप्पणी के बाद राजद नेताओं में भारी आक्रोश है। वहीं, तेजस्वी के बड़े भाई और पूर्व मंत्री तेज प्रताप यादव ने भी इस बयान पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। दरअसल राजबल्लभ यादव ने तेजस्वी यादव की पत्नी की तुलना “जर्सी गाय” से करते हुए कहा हरियाणा और पंजाब से शादी करने की क्या जरूरत थी? बीवी लाए या जर्सी गाय? इस बयान को लेकर राजनीतिक गलियारों में तीखी प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं। राजद नेताओं ने इसे न केवल तेजस्वी और उनकी पत्नी का अपमान बताया, बल्कि पूरे पिछड़े और दलित समाज की भावनाओं पर भी चोट बताया है।
राजद जिला अध्यक्ष रेनू देवी ने राजबल्लभ पर हमला बोलते हुए कहा यह व्यक्ति आस्तीन का सांप है, जो लालू प्रसाद यादव की छाया में पला और अब उन्हीं के परिवार की बहू के खिलाफ अभद्र बयानबाजी कर रहा है। पार्टी ऐसे किसी भी बयान को बर्दाश्त नहीं करेगी, इस पूरे मामले में तेज प्रताप यादव ने भी खुलकर मोर्चा संभाला है। उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा राजबल्लभ यादव अपराधी प्रवृत्ति के व्यक्ति हैं और इसी कारण उन्हें पहले ही पार्टी से बाहर कर दिया गया था। महिला पर इस तरह की टिप्पणी एक गंभीर अपराध है और यह किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
गौरतलब है कि राजबल्लभ यादव का अतीत भी विवादों से भरा रहा है, वर्ष 2016 में एक नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में उन्हें जेल की सजा हुई थी। हालांकि हाल ही में हाईकोर्ट ने उन्हें इस मामले में बरी कर दिया, लेकिन विवादित छवि और विवादास्पद बयानों के चलते वे लगातार सुर्खियों में बने रहते हैं। तेज प्रताप यादव रविवार को मुजफ्फरपुर पहुंचे थे, जहां वे बाबा गरीबनाथ धाम मंदिर में पूजा करना चाहते थे लेकिन चंद्रग्रहण के कारण सूतक लगने की वजह से मंदिर के कपाट बंद थे। मीडिया से बातचीत में उन्होंने अफसोस जताया और कहा कि अगली बार बाबा का दर्शन जरूर करेंगे। इसी दौरान उन्होंने राजबल्लभ पर करारा हमला बोला और स्पष्ट कर दिया कि राजद अब ऐसे दागदार छवि वालों को कतई बर्दाश्त नहीं करेगी।
हालांकि तेज प्रताप यादव खुद भी फिलहाल पार्टी से निष्कासित चल रहे हैं और नई राजनीतिक राह पर हैं, लेकिन इस पूरे प्रकरण में उनकी प्रतिक्रिया यह दर्शाती है कि पारिवारिक मुद्दों पर वे तेजस्वी के साथ खड़े हैं। अब देखना यह है कि इस बयान के बाद बिहार की राजनीति में कौन सी नई करवट आती है और राजद इस विवाद को कैसे संभालता है। फिलहाल पूरे प्रदेश में इस टिप्पणी को लेकर राजनीतिक और सामाजिक संगठनों में रोष व्याप्त है और राजबल्लभ यादव के खिलाफ कार्रवाई की मांग तेज होती जा रही है।